Diwali Pujan Time : आज हिन्दू धर्म का महा पर्व दिवाली है जिसे पुरे देश में काफी धूम धाम से मनाया जाता है। ऐसा मन जा रहा है की इस बार की दिवाली काफी शुभ है। आज कुल 5 प्रकार के राजयोग माना जा रहा है। आज के दिन दिवाली के अवसर पर अपने घरो में दिए जलाकर घरो में रोशन करते है जिसका विशेष महत्व है।
इसके साथ ही हमलोग रात में माँ लक्ष्मी की पूजा करते है। आपको बता दे की हिन्दू पंचांग के अनुसार आज दिवाली की शाम मां लक्ष्मी की पूजा कार्तिक माह के अमावस्या तिथि पर प्रदोष काल और स्थिर लग्न में किया जाता है। महान ज्यातिषी की सुने तो उन्होंने बताया है की आज गणेश लक्ष्मी की पूजा का शुभ मुहूर्त 2 बजे है।
तो आइये जानते है की आज का शुभ मुहूर्त Diwali Pujan Time, पूजन सामग्री, पूजन विधि, सहित सभी जानकारी नीचे दी गई है।

Diwali Pujan Time – दिवाली पूजन समय
इस वर्ष 2023 में दिवाली का महापर्व 10 नवंबर 2023 से प्रारम्भ हुआ है इस दिन धनतेरस मनाया गया, इसके बाद 11 नवंबर 2023 को छोटी दिवाली और आज 12 नवंबर 2023 को दिवाली मनाई जाएगी, इसके बाद 14 नवंबर 2023 को गोवर्धन पूजा है और 15 नवंबर 2023 को भाई दूज है। आज 12 नवंबर 2023 को दिवाली के दिन लक्ष्मी पूजा का शुभ मुहूर्त 02:44 बजे से शुरू हो जाएगी जो अगले दिन यानी 13 नवंबर, सोमवार को दोपहर 02:56 बजे खत्म होगी।
- सर्वश्रेष्ठ मुहूर्त: श्याम 5:40 बजे से रात 8:15 बजे तक
- घर में पूजा के लिए: शाम 05:22 बजे से 07:19 बजे तक
- दुकान, ऑफिस, एवं कारखाने के लिए: 1:15 बजे से दोपहर 2:58 तक, शाम 5:41 बजे से रात 8:57 बजे तक
Diwali Pujan Samagri
दिवाली के दिन माँ लक्ष्मी की पूजा होती है जिसके लिए शुभ मुहूर्त हमने आपको ऊपर बता दिया है अब जानते है पूजा करने के लिए Diwali Pujan Samagri के बारे में जो निम्नलिखित है :
- एक चौकी
- लाल कपड़ा
- भगवान गणेश जी और मां लक्ष्मी जी की प्रतिमा या फोटो
- सुपारी
- लॉन्ग
- इलायची
- अक्षत यानी साबुत चावल के दाने
- एक तांबे या पीतल का कलश
- दो नारियल
- दो बड़े दीपक
- 11 छोटे दीपक
- आम के पत्ते
- पान के पत्ते
- कुमकुम
- हल्दी
- दूर्वा
- मौली
- घी
- जल पात्र
- गंगाजल
- पुष्प
- कमल का फूल
- मीठे बताशे
- खील
- मिठाई
- फल
- पकवान
- सरसों का तेल
- दिए की बाती
- धूप
- अगरबत्ती
- मेवे
Diwali Puja Mantra
मां लक्ष्मी मंत्र
ऊँ श्रींह्रीं श्रीं कमले कमलालये प्रसीद प्रसीद श्रीं ह्रीं श्रीं ऊँ महालक्ष्मी नम:॥
श्री गणेश मंत्र
गजाननम्भूतगभू गणादिसेवितं कपित्थ जम्बू फलचारुभक्षणम्।
उमासुतं सु शोक विनाशकारकं नमामि विघ्नेश्वरपादपंकजम्।
कुबेर मंत्र (Kuber Mantra)
ॐ यक्षाय कुबेराय वैश्रवाणाय, धन धन्याधिपतये। धन धान्य समृद्धि मे देहि दापय स्वाहा।